हरियाणा कांग्रेस में मुख्यमंत्री बनने की होड़ चल रही है। तीन नेता इस पद के लिए दावेदारी कर रहे हैं: भूपेंद्र सिंह हुड्डा, कुमारी सैलजा, और रणदीप सुरजेवाला। सुरजेवाला ने कहा कि वे तीनों सीएम बनना चाहते हैं।
राहुल गांधी का निर्णय
सुरजेवाला ने बताया कि आखिर में यह निर्णय राहुल गांधी और पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे करेंगे, जो भी फैसला होगा। वे सब उसे स्वीकार करेंगे।
कुमारी सैलजा की दावेदारी
कुमारी सैलजा ने कहा कि वे भी सीएम बनना चाहती हैं। उनका कहना है कि दलित नेता को भी मुख्यमंत्री बनने का मौका मिलना चाहिए। यह एक महत्वपूर्ण मुद्दा है, क्योंकि उन्होंने बताया कि जब दूसरे जातियों के नेता सीएम बन सकते हैं, तो दलित क्यों नहीं?
सुरजेवाला का समर्थन
सुरजेवाला ने कहा कि कुमारी सैलजा कांग्रेसी हैं और रहेंगी। उन्होंने पूर्व मुख्यमंत्री खट्टर के बयान को बचकाना बताया। सुरजेवाला ने कहा कि सैलजा उनके लिए पिता समान हैं।
खट्टर पर कटाक्ष
सुरजेवाला ने केंद्रीय मंत्री मनोहर लाल खट्टर पर भी कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खट्टर को कुरुक्षेत्र की रैली में नहीं बुलाया। उनका डर था कि कहीं खट्टर के कारण वोट न टूट जाए।
आदित्य सुरजेवाला का चुनाव
रणदीप सुरजेवाला का बेटा आदित्य इस बार कैथल सीट से चुनाव लड़ रहे हैं। यह उनका पहला चुनाव है। रणदीप पहले भी इस सीट से विधायक रह चुके हैं, लेकिन 2019 में उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
कांग्रेस की गुटबाजी
कांग्रेस में मुख्यमंत्री के चेहरे को लेकर विवाद चल रहा है। भूपेंद्र हुड्डा और कुमारी सैलजा के बीच प्रतिस्पर्धा है। इस गुटबाजी के कारण कांग्रेस पिछले 10 साल से सत्ता से बाहर है।
चुनावी चुनौती
2014 में कांग्रेस को केवल 15 सीटें मिलीं और 2019 में 31 सीटें। भाजपा ने 2014 में बहुमत से सरकार बनाई और 2019 में जेजेपी के साथ मिलकर सरकार बनाई।
आगे का रास्ता
कांग्रेस को अब एकजुट होकर चुनाव लड़ना होगा। देखना होगा कि कौन सा नेता पार्टी का चेहरा बनेगा। सुरजेवाला, सैलजा, और हुड्डा की दावेदारी ने पार्टी में नई जान डाल दी है। आने वाले चुनावों में यह देखना दिलचस्प होगा कि पार्टी किस दिशा में जाती है।